वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी | Biography of Jitendra Nath Goswami in Hindi

वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी | BIOGRAPHY OF JITENDRA NATH GOSWAMI IN HINDI
वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी | BIOGRAPHY OF JITENDRA NATH GOSWAMI IN HINDI

वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी ( Prof. Jitendra Nath Goswami)भारत के एक प्रसिद्ध Indian physics researcher और अंतरिक्ष वैज्ञानिक हैं। भारत के मिशन चंद्रयान-1 के विकास में ये मुख्य वैज्ञानिक के रूप में शामिल थे।

मंगलयान और मिशन चंद्रयान-2 के विकास में भी इनका अहम योगदान रहा। वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी ने गुजरात राज्य के अहमदाबाद स्थित भौतिक अनुसंधान लैब के निदेशक पद पर भी रहे।

वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी | BIOGRAPHY OF JITENDRA NATH GOSWAMI IN HINDI
वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी

प्रो वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी ने विज्ञान में योगदान के लिए कई सम्मान व पुरस्कार प्राप्त किया। वर्तमान में वे भारत के तीनों विज्ञान अकादमियों के फेलो(सदस्य) हैं। आइये इस प्रसिद्ध विज्ञानी जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी संक्षेप में जानते हैं।

वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी | Biography of Jitendra Nath Goswami in Hindi

प्रारंभिक जीवन  व शिक्षा दीक्षा

प्रो जितेंद्रनाथ गोस्वामी का जन्म 18 नवंबर 1950 को भारत के पूर्वोत्तर राज्य असम के जोरहट में हुआ था। बचपन से जितेंद्रनाथ गोस्वामी मेधावी थे तथा हार्ड वर्क करने में विश्वास रखते थे।

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डॉ जितेंद्रनाथ गोस्वामी ने अपनी स्कूली शिक्षा अपने होम टाउन जोरहाट से पूरी की। उन्होंने सन 1965 में हाईस्कूल की परीक्षा उच्च अंक के साथ पास कर टॉप 10 में जगह बनाई।

उन्होंने गौहाटी विश्वविद्यालय से भौतिक विज्ञान में स्नातक और फिर स्नातकोत्तर (एमएससी) की डिग्री प्राप्त की। उसके बाद उच्च शिक्षा के लिए टाटा इंस्टीट्यूट ऑफ फंडामेंटल रिसर्च (TIFR) मुंबई से जुड़ गए।

इस दौरान वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी का शोध की विषय ब्रह्मांडीय किरणों की lunar sample और उल्कापिंडों में records से संबंधित था।

कैरियर – Professor JN Goswami

अपने पी एच डी पूरा करने के बाद वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी सन 1973 में भौतिक अनुसंधान प्रयोगशाला (PRL) से जुड़े। यहीं पर शोध करते हुए 1978 में पी एच डी की डिग्री हासिल की।

उन्होंने पर्ल के कई पदों पर काम किया। अंत में भौतिक अनुसंधान लैब के निदेशक के पद तक पहुचे। 

योगदान

उन्होंने भौतिक अनुसंधान प्रयोगशाला (पीआरएल) में काम करते हुए इसरो के ग्रह विज्ञान और अन्वेषण परियोजना का मार्गदर्शन किया।

साथ ही ग्रह-अनुसंधान के लिए एक उच्च-रिज़ॉल्यूशन माध्यमिक आयन-मास स्पेक्ट्रोमीटर प्रयोगशाला की स्थापना का प्रथम श्रेय इन्हीं को जाता है।

अनुसंधान

प्रो जे एन गोस्वामी (Professor JN Goswami ) कुछ सालों के लिए पोस्ट-डॉक्टरेट अनुसंधान के लिए अमेरिका में भी रहे। जहाँ उन्हें अमेरिका के कई प्रतिष्ठित संस्थानों में शोध वैज्ञानिक के रूप में काम करने का मौका मिला।

अपने प्रवास के दौरान उन्होंने वाशिंगटन विश्वविद्यालय, सेंट लुइस, वर्नाडस्की इंस्टीट्यूट, मॉस्को, लूनर एंड प्लैनेटरी इंस्टीट्यूट, ह्यूस्टन  और मैक्स-प्लैंक जैसे इंस्टीट्यूट का दौरा किया।

इस दौरान उनके शोध मुख्य रूप से सौर मंडल और खगोल भौतिकी पर केंद्रित रहा। उन्होंने अपने सहयोगी वैज्ञानिकों के साथ मिलकर यह निष्कर्ष निकाला की सौर मंडल की उत्पत्ति के समय ऊर्जा का मुख्य संसाधन इसके आधे जीवन में न्यूक्लाइड था।

इसके अलावा उन्होंने कॉस्मिक किरणों तथा टेक्टोनिक प्लेट्स पर भी अनुसंधान कार्य कीये।

उपलब्धि

अपने वैज्ञानिक जीवन में उन्होंने सौर मंडल, सौर तारकीय संबंध, अंतरिक्ष में ऊर्जावान कण, चंद्रमा का विकास, क्षुद्रग्रह और उल्कापिंड पर काम करते हुए कई उपलब्धि हासिल की।

वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी, इंफोसिस पुरस्कार के लिए भौतिक विज्ञान जूरी में सन 2016 से 2018 तक शामिल रहे।

वे कॉस्मिक रे प्रयोग के सहयोगी वैज्ञानिक के तौर पर काम किया। साथ ही प्रो गोस्वामी अंतरिक्ष यान Spacelab-3 में चंद्र नमूनों के मुख्य वैज्ञानिक के रूप में शामिल रहे।  

सम्मान व पुरस्कार

अंतरिक्ष विज्ञान में योगदान के लिए वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी को अनेकों सम्मान और पुरस्कार प्रदान कीये गए। कई प्रमुख संस्थानों ने डॉ गोस्वामी को अपने फ़ेलो (सदस्य ) नियुक्त किया।

प्रो गोस्वामी इंडियन एकेडमी ऑफ साइंसेज, द वर्ल्ड एकेडमी ऑफ साइंस, यूरोपियन एसोसिएशन ऑफ जियोकेमिस्ट्री और एस्ट्रोनॉमी के सदस्य हैं।

  • वर्ष 1978 – युवा वैज्ञानिक पुरस्कार (भारतीय राष्ट्रीय विज्ञान संघ द्वारा )
  • वर्ष 1986 – नासा का पब्लिक सर्विस ग्रुप ऑफ अचीवमेंट अवार्ड
  • वर्ष 1994 – भारत का प्रसिद्ध शांति स्वरूप भटनागर पुरस्कार
  • वर्ष 2003 – विज्ञान और प्रौद्योगिकी में योगदान हेतु कमल कुमारी राष्ट्रीय पुरस्कार
  • वर्ष 2008 – रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी के मानद फेलो
  • वर्ष 2014 – एक्सफोर्ड पुरस्कार (एशिया ओशिनिया जियोसाइंस सोसाइटी द्वारा
  • वर्ष 2015 – असम राज्य का सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार असम रत्न से सम्मानित
  • वर्ष 2017 – तत्कालीन राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी द्वारा देश का उच्च नागरिक सम्मान पद्म श्री वर्ष 2007 – एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया के अध्यक्ष चुने गए।

आपको को वैज्ञानिक जितेंद्रनाथ गोस्वामी की जीवनी ( Biography of Jitendra Nath Goswami in Hindi ) पर संकलित जानकारी जरूर अच्छी लगी होगी।


अवतार सिंह पेंटलआनद मोहन चक्रवर्तीसी वी रमनएमएस स्वामीनाथन
डॉ हरगोविंद खुरानापंचानन्द महेशरीजगदीश चंद्र बसुपक्षी वैज्ञानिक सलीम अली
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